आरोपी गिरफ्तार
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कोलकाता में स्थित भारतीय सेना के पूर्वी कमान के मुख्यालय फोर्ट विलियम में एक युवक ने सैन्य अधिकारी के भेष में घुसने की कोशिश की, लेकिन फोर्ट विलियम में तैनात गार्डों ने पकड़ लिया। युवक आंध्र प्रदेश के विशाखापट्टनम का रहने वाला है। युवक खुद को सेना का मेजर बताकर अंदर जाने की कोशिश कर रहा था, लेकिन उसकी कोशिश तब विफल हो गई, जब वह ऑफिसर्स एंट्री रजिस्टर में अपना विवरण नहीं लिख सका। वह एक काले रंग की बीएमडब्ल्यू कार में फोर्ट विलियम पहुंचा था, जिसे एक ड्राइवर चला रहा था। 

किशोर गृह से रिहा होने के बाद किए कई अपराध

जांच में सामने आया है कि आरोपी आंध्र प्रदेश के विशाखापट्टनम का रहने वाला है। वह आदतन अपराधी है और सितंबर 2023 से फरवरी 2024 तक ओडिशा के किशोर गृह में बंद था। अपनी रिहाई के बाद शख्स ने अपराधों की लाइन लगा दी। 

13 फरवरी से हुई अपराधों की शुरुआत

दरअसल, 13 फरवरी को आरोपी अपनी रिहाई के बाद कटक के होटल प्राइड में रुका था। बाद में होटल को 6,393 रुपये का चूना लगाकर वहां से भाग निकला। आरोपी ने 14 मार्च को हावड़ा रेलवे स्टेशन तक बिना टिकट यात्रा की थी और कोलकाता हवाईअड्डे तक के लिए एक कैब ली। रास्ते में उसने होटल जेडब्ल्यू मैरियट को फोन किया कि उसे हवाईअड्डे से लेने के लिए कैब भेज दें और वहीं रुक गया।

फिर उसने होटल में रात बिताई और दूसरे दिन बीएमडब्ल्यू कैब किराए पर ली और ड्राइवर को बताया कि वह राष्ट्रपति के अंगरक्षक रेजिमेंट के पैनल में शामिल एक सैन्य अधिकारी है। कैब ड्राइवर ने उस पर भरोसा कर लिया और अपनी बेटी को डिफेंस कोटे में जादवपुर यूनिवर्सिटी में दाखिला दिलाने का अनुरोध किया। यूनिवर्सिटी की यात्रा के बाद वे फोर्ट विलियम गए। 

शुक्रवार दोपहर करीब एक बजकर 10 मिनट पर ईस्ट गेट से फोर्ट विलियम में घुसने की कोशिश की। प्रवेश द्वार पर आरोपी ने अपने फोन पर एक आईडी कार्ड दिखाया। आईडी कार्ड पर 5वीं गोरखा राइफल्स (फ्रंटियर फोर्स) यूनिट के मेजर एमएस चौहान का नाम लिखा हुआ था। फिर उससे ऑफिसर्स एंट्री रजिस्टर में विवरण दर्ज करने के लिए कहा गया। हालांकि वह विवरण लिखते वक्त अपने मोबाइल नंबर का जिक्र करता रहा। तभी वहां मौजूद सैन्यकर्मी को गड़बड़ी का संदेह हुआ और उसने नियंत्रण कक्ष को सूचित किया।

कई लक्जरी होटलों और दुकानों में फर्जी पेमेंट

सुरक्षा कर्मियों ने आरोपी को पकड़कर पुलिस के हवाले कर दिया गया। आरोपी ने कई लक्जरी होटलों और दुकानों में फर्जी डिजिटल पेमेंट किया था। जेडब्ल्यू मैरियट होटल के स्टाफ ने उसके कमरे की तलाशी ली, लेकिन उसमें कोई निजी सामान या दस्तावेज नहीं मिला। हालांकि उसने एक अन्य आईडी कार्ड के उपयोग से कटक और कोलकाता दोनों के होटलों में चेक-इन किया था, जिस पर हैदराबाद पुलिस के कांस्टेबल सुनील कुमार का नाम दर्ज था। आरोपी का दावा है कि वो 24 साल का बीटेक छात्र बताता है। हालांकि इस बारे में कोई स्पष्टीकरण नहीं मिला है। 






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By attkley

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