Vishvamitra Mission: प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने कई मौकों पर भारत का जिक्र ‘विश्वमित्र’ के रूप में किया है. ये सच है कि भारत ने पूरी दुनिया में अपनी छवि एक विश्वमित्र के तौर पर बनाई है और पूरी दुनिया भारत को एक दोस्त के तौर पर देख रही है…जो देश कभी भारत से दूर थे वो देश भी अब भारत से दोस्ती का हाथ मिला रहे है…बदलते वक्त के साथ भारत बदल रहा है, दूसरों की मदद कर रहा है, और ऐसा एक बार नहीं बल्कि कई बार दुनिया ने देखा है. जब भी, जिसको भी, जहां भारत की मदद की जरूरत पड़ी भारत हमेशा हर वक्त तैयार दिखता है..

असल में समुद्र में एक बार फिर भारत ने शौर्य दिखाया है…और इस बार उस देश के नागरिकों को बचाया है जो हमेशा भारत के खिलाफ साजिश का तानाबाना बुनता रहता है. यानि पाकिस्तान.

समुद्री लुटेरों के खिलाफ ऑपरेशन
– भारतीय नौसेना ने 29 मार्च को सोमालिया के समुद्री लुटेरों के खिलाफ ऑपरेशन चलाकर 23 पाकिस्तानियों की जान बचाई.
– ये सभी पाकिस्तानी अल कामबार 786 जहाज पर सवार थे, और ये एक मछली पकड़ने वाला ईरानी जहाज था.
– 9 हथियारबंद समुद्री डाकुओं ने सोकोत्रा के पास इस ईरानी जहाज पर कब्जा कर लिया था.
– जिसके बाद भारतीय नौ सेना ने ऑपरेशन लॉन्च किया और 12 घंटे तक चली कार्रवाई के बाद सभी 9 लुटेरों को आत्मसमर्पण के लिए मजबूर कर दिया और सभी 23 पाकिस्तानियों को सुरक्षित बचा लिया.

भारतीय नौ सेना ऑपरेशन ..
जिस जहाज इस पर सोमालिया के समुद्री लुटेरों ने कब्जा किया था. वो यमन के सोकोत्रा द्वीप से साउथ-वेस्ट में करीब 166 किलोमीटर की दूरी पर था. हाइजैक का अलर्ट मिलते ही भारतीय नौसेना ने अपने युद्धपोत INS सुमेधा को ईरानी जहाज को रोकने के लिए रवाना किया था. जिसके बाद इस ऑपरेशन में गाइडेड मिसाइल फ्रीगेट INS त्रिशूल ने उसकी मदद की। भारत ने इस ऑपरेशन में ये नहीं देखा कि जहाज पर पाकिस्तान के नागरिक है. भारतीय नौ सेना ने पाकिस्तान के नागरिकों की जान बचाना अपना प्रथम कर्तव्य समझा. जिसे उसने सफलतापूर्वक अंजाम भी दिया.

नेवी ने नाम दिया है ऑपरेशन संकल्प..
अरब सागर में भारतीय नौसेना ने एक ऑपरेशन लॉन्च कर रखा है. जिसे इंडियन नेवी ने नाम दिया है ऑपरेशन संकल्प. इस अभियान को अदन की खाड़ी, उसके आसपास का अरब सागर का इलाका और सोमालियाई तट तक चलाया जा रहा है. इस इलाके में हूती विद्रोहियों और सोमालियाई लुटेरे का आतंक लंबे समय से है. और इसी आतंक को खत्म करने के लिए इंडियन नैवी हमेशा अलर्ट मोड पर रहती है. जिसमें अबतक 110 से ज्यादा विदेशी नागरिकों की जान बचाई गई है.

आपको याद होगा पिछले शनिवार को हमने DNA में आपको एक विश्लेषण दिखाया था. जिसमें हमने दिखाया था कि किस तरह भारतीय नेवी अब सोमालियाई लुटेरों पर भारी पड़ रही है. सोमालिया के 35 समुद्री लुटेरों को INS कोलकाता मुंबई लेकर पहुंचा था. आप अपनी टीवी स्क्रीन पर उसी वक्त की तस्वीर देख रहे है जो समुद्र में आते जाते जहाजों को लूटते थे…सोमालिया के इन 35 समुद्री लुटेरे को भारतीय नौ सेना ने आत्मसमर्पण के लिए मजबूर किया था. जिसके बाद इन्हें मुंबई पुलिस को सौंप दिया गया था.

समुद्र में भारतीय नेवी का शौर्य अब पूरी दुनिया देख रही है. भारत दूसरे देशों के लोगों की जान बचा रहा है. समुद्री डाकुओं पर भारी पड़ रहा है. ये विश्व मित्र भारत ही कर सकता है. और यही बदलते भारत की बढ़ती हुई शक्ति की तस्वीर है…

 एस जयशंकर ने साफ कहा कि भारत सिर्फ थैंक्यू के लिए दुसरे देशों के लोगों की जान नहीं बचाता…बल्कि ये बदलते भारत की तस्वीर है. अगर कोई फंसा है तो हम उसे अपना समझकर उसकी मदद करते हैं. समंदर में भी भारत ऐसा ही कर रहा है.

अरब सागर और लाल सागर समुद्री लुटेरों का फेवरेट इलाका है…क्योंकि इस जगह पर उनके लिए बड़े बड़े शिप को हाईजैक करना आसान होता है. लेकिन पिछले कुछ समय में स्थिति बदली है…और इस स्थिति को बदलने में सबसे बड़ा रोल इंडियन नेवी ने निभाया है…

– भारतीय नौसेना ने ऑपरेशन संकल्प और अन्य अभियानों के दौरान अबतक 133 लोगों की जान बचाई है.
– इनमें 62 पाकिस्तानी और 30 ईरान के नागरिकों की भी जान बचाई गई है.
– 100 दिनों में भारतीय नौसेना ने समंदर में घटी 18 घटनाओं पर एक्शन लिया है.

भारतीय नौ सेना का ऑपरेशन संकल्प बेहद सफल रहा है…जिसके लिए भारत ने 5000 से ज्यादा नौ सैनिकों को समंदर में तैनात कर रखा है. 21 से 22 जहाज तैनात है. इस दौरान भारतीय फाइटर विमानों ने 900 घंटे की उड़ान भरी है. भारत की इस कार्रवाई से समुद्री डाकुओं में सबसे ज्यादा खौफ है.

दरअसल दुनिया में कई ऐसे समुद्री मार्ग है जो बड़े बड़े देशों के लिए जी का जंजाल बने हुए है. इसमें सबसे पहला नंबर सोमालिया का ही आता है. पिछले कुछ समय में दुनिया भर के अलग अलग समुद्री मार्गों में समुद्री लुटेरों ने बड़ी संख्या में जहाजों को हाईजैक किया है…

– सोमालिया के 1800 मील लंबे समुद्री मार्ग से गुज़रते समय लुटेरे विदेशी शिप पर हमला करते है और हाईजैक कर फिरौती मांगते है.
– हिंद महासागर पर मौजूद तंजानिया भी अहम जल मार्गों में से एक है, यहां भी समुद्री लुटेरे बड़ी संख्या में जहाजों को लूटते है.
– नाइजीरिया में भी समुद्री लुटेरों का आतंक है. इस इलाके में पूरी दुनिया में होने वाली समुद्री डकैतियों की 20 फ़ीसदी वारदातें होती है.
– अदन की खाड़ी भी समुद्री लुटेरों का पसंदीदा इलाका है. यहां स्वेज नहर जो लाल सागर और भूमध्य सागर को जोड़ती है, उस रास्ते पर समुद्री लुटेरों का आतंक है.

समुद्री डकैती एक वैश्विक मुद्दा है. क्योंकि दुनिया भर के देशों के जहाज समुद्री मार्ग से ही आगे बढ़ते है…लेकिन भारत ने समुद्र में जो रणनीति अपनाई है वो बड़े बड़े देशों के लिए उम्मीद की किरण बनी है. किसी देश में आपदा आई हो या फिर दो देशों का युद्ध हुआ है. आज के समय में सबसे पहले भारत को ही याद किया जाता है. आपने वो तस्वीरें जरूर देखी होंगी जब भारत के प्रधानमंत्री अंतराष्ट्रीय मंचों पर जाते है तो बड़े बड़े देशों के प्रधानमंत्री, राष्ट्रपति पीएम मोदी के साथ गर्मजोशी से हाथ मिलाते है. 

जो भारत के स्वतंत्र शक्ति बनने की तरफ इशारा कर रही है. जो चीन, अमेरिका और यूरोपीय लोगों से अलग है. जिसमें दोस्ती, सहयोग, और पारस्परिक लाभ सब शामिल हैं. भारत 130 करोड़ लोगों की आकांक्षाओं का देश है, एक मजबूत अर्थव्यवस्था के साथ, राष्ट्र सर्वप्रथम वाली कूटनीति, बहादुर सेना और बढ़ती शक्ति के साथ, विश्व अब भारत को एक नई शक्ति के रूप में देख रहा है.



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By attkley

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